दास की परिभाषा‘‘

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‘‘दास की परिभाषा‘‘ एक समय सुल्तान एक संत के आश्रम में गया। वहाँ कुछ दिन संत जी के विशेष आग्रह से रूका । संत का नाम हुकम दास था। बारह शिष्य उनके साथ आश्रम में रहते थे। सबके नाम के पीछे दास लगा था। फकीर दास, आनन्द दास, कर्म दास, धर्मदास। उनका व्यवहार दास वाला नहीं था। उनके गुरू एक को सेवा के लिए कहते तो वह कहता कि धर्मदास की बारी है, उसको कहो, धर्मदास कहता कि आनन्द दास का नम्बर है। उनका व्यवहार देखकर सुल्तानी ने कहा कि:-  दासा भाव नेड़ै नहीं, नाम धराया दास। पानी के पीए बिन, कैसे मिट है प्यास।। सुल्तानी ने उन शिष्यों को समझाया कि मैं जब राजा था, तब एक दास मोल लाया था। मैंने उससे पूछा कि तू क्या खाना पसंद करता है। दास ने उत्तर दिया कि दास को जो खाना मालिक देता है, वही उसकी पसंद होती है। आपकी क्या इच्छा होती है? आप क्या कार्य करना पसंद करते हो? जिस कार्य की मालिक आज्ञा देता है, वही मेरी पसंद है। आप क्या पहनते हो? मालिक के दिए फटे-पुराने कपड़े ठीक करके पहनता हूँ। उसको मैंने मुक्त कर दिया। धन भी दिया। उसी की बातों को याद करके मैं अपनी गुरू की आज्ञा का पालन करता हूँ। अपनी मर्जी कभी न

मुझे भी औरो की तरह नेहरू, गांधी, गांधी परिवार तथा हिन्दू मुस्लिम भाई भाई जैसे नारे अच्छे लगते थे।इन 9 वर्षों में मुझे कुछ ऐसे सत्य पता चले जो हैरान करने वाले थे।

मात्र 9 वर्ष पहले मैं भी एक सामान्य व्यक्ति था,

मुझे भी औरो की तरह नेहरू, गांधी, गांधी परिवार तथा हिन्दू मुस्लिम भाई भाई जैसे नारे अच्छे लगते थे।

इन 9 वर्षों में मुझे कुछ ऐसे सत्य पता चले जो हैरान करने वाले थे।

1. सोशल मीडिया से मुझे यह पता चला कि "पत्रकार" निष्पक्ष नही होते। वे भी किसी खास विचारधारा से जुड़े होते हैं।

2. लेखक, साहित्यकार भी निष्पक्ष नही होते। वे भी किसी खास विचारधारा से जुडे होते है।

3. साहित्य अकादमी, बुकर, मैग्ससे पुरस्कार प्राप्त बुद्धिजीवी भी निष्पक्ष नही होते।

4. फिल्मों के नाम पर एक खास विचारधारा को बढ़ावा दिया जाता है। बालीबुड का सच पता चला।

5. हिन्दू धर्म को सनातन धर्म कहते हैं और देश का नाम हिंदुस्तान है, क्योंकि यह हिंदुओं का इकलौता देश है।

6. हिन्दू शब्द सिंधु से नही (ईरानियों द्वारा स को ह बोलने से) नही आया बल्कि "हिन्दू" शब्द "ऋग्वेद" में लाखों वर्ष पूर्व से ही वर्णित था।

7. जातिवाद, बाल विवाह, पर्दा प्रथा हजारों वर्ष पूर्व सनातनी नही बल्कि मुगलों के आगमन से उपजी कु-व्यवस्था थी, जिसे अंग्रेजों ने सनातन से जोड़कर हिन्दुओ को बांटा। उसे लिखित इतिहास बनाया।

8. किसी समय भारतीय संस्कृति और सनातन धर्म पूरे विश्व मे फैला था।

9. वास्कोडिगामा का सच ये था कि वह एक लुटेरा, धोखेबाज था और किसी भारतीय जहाज का पीछा करते हुए भारत पहुंचा।

10. बप्पा रावल का नाम, काम और और अद्भुत पराक्रम सुना। उनसे डरकर 300 वर्ष तक मुस्लिम आक्रांता इधर झांके भी नहीं।

11. बाबर, हुमायूँ, अकबर, औरंगजेब, टीपू सुलतान सहित सभी मुगल शासक क्रूर, हत्यारे, इस्लाम के प्रसारक और हिंदुओं का नरसंहारक थे, यह सच पता चला।

12. ताज़महल, लालकिला, कुतुब मीनार हिन्दू भवन थे, इनकी सच्चाई कुछ और थी।

13. जिसे लोग व्हाट्सएप यूनिवर्सिटी कहकर मजाक उड़ाते हैं, उसी ने मुझे महात्मा गांधी के "ब्रह्मचर्य के प्रयोग" और हेडगेवार, सुभाष चंद्र बोस, सरदार पटेल व हिन्दू समाज के साथ कि गई गद्दारी की सच्चाई बताई।

14. गाँधी जी की तुष्टिकरण और भारत विभाजन के बारे मे ज्ञान हुआ।

15. नेहरू की असलियत, उनके इरादे, उनकी हरकतें, पता चली।

16. POK के बारे मे भी इन 6 वर्षों में जाना कि कैसे पाकिस्तान ने कब्जा किया। और कौन लोग POK को भारत का हिस्सा नहीं मानते हैं।

17. अनुच्छेद 370 और उससे बने नासूर का पता चला।

18. कश्मीर में दलितों को आरक्षण नही मिलता, यह भी अब पता चला। कैसे...

19. AMU मे दलितों को आरक्षण नही मिलता, वह संविधान से परे है।

20. जेएनयू की असलियत, वहाँ के खेल और हमारे टैक्स से पलने वाली टुकड़े टुकड़े गैंग का पता चला।

21. वामपंथी-देशद्रोही विचारधारा के बारे मे पता चला।

22. जय भीम समुदाय के बारे मे पता चला। भीमराव के नाम पर उनके मत से सर्वथा भिन्न खेल का पता चला। मीम भीम दलित औऱ हिन्दू दलित अलग होते है पता चला।

23. मदर टेरेसा की असलियत अब जाकर ज्ञात हुई।

24. ईसाई मिशनरी और धर्मांतरण के बारे में पता चला।

25. समुदाय विशेष में तीन तलाक, हलाला, तहरुष, मयस्सर, मुताह जैसी कुरूतियों के नाम भी अब जाकर सुना। इनका मतलब जाना।

26. अब मुझे पता चला कि धिम्मी, काफिर, मुशरिक, शिर्क, जिहाद, क्रुसेड जैसे शब्द हिन्दुओं के लिए क्या संदेश रखते हैं।

27. सच बताऊं, गजवा ऐ हिन्द के बारे मे पता भी नहीं था। कभी नाम भी नहीं सुना था। यह सब इन 6 वर्षों में पता चला। स्टॉकहोम सिंड्रोम और लवजिहाद का पता चला।

28. सेकुलरिज्म की असलियत अब पता चली। मानवाधिकार, बॉलीवुड, बड़ी बिंदी गैंग, लुटियंस जोन इन सबके लिए तो हिन्दू एक चारा था।

29. हिन्दू पर्सनल लॉ और मुस्लिम पर्सनल लॉ अलग हैं, यह भी सोशल मीडिया ने ही बताया। नेहरू ने हिन्दू पर्सनल लॉ को समाप्त कर दिया। लेकिन मुस्लिम पर्सनल लॉ को रहने दिया।

30. भारतीय इतिहास के नाम पर हमें झूठा इतिहास पढ़ाया गया, जिन मुगलों ने हमे लूटा, हम पर अत्याचार किया उन्हें महान बताया गया।

और भी कई विषय हैं जो इन 9 वर्षो मे हमें ज्ञात हुए है जो देश से छुपाए गये थे। जो आपके ध्यान में आए वो इसमें जोड़ते जाइए।

वन्देमातरम्

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